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20 जून 2011

डीयू में दाखिलाःटॉपर्स के लिए आखिरी मौका आज

दाखिले की दौड़ में 12वीं में अच्छे अंकों के साथ टॉप करने वाले छात्र-छात्राएं भी दाखिले से वंचित रह सकते हैं। पहली कटऑफ के तहत जिन छात्रों ने अभी तक दाखिला नहीं लिया है, उनके पास अब सोमवार का दिन शेष है और उसके बाद शायद यह अवसर भी न रहे।

इसकी वजह है टॉप कॉलेजों के पापुलर पाठ्यक्रमों में नो एंट्री की तैयारी। इन पाठ्यक्रमों में बीकॉम ऑनर्स, इकोनॉमिक्स ऑनर्स, मैथमेटिक्स ऑनर्स के नाम प्रमुख हैं। हालांकि ऑउट ऑफ कैम्पस कॉलेजों में दूसरी कटऑफ के बाद दाखिले की दौड़ रफ्तार पकड़ेगी, लेकिन यहां भी पापुलर पाठ्यक्रमों की कटऑफ में भारी गिरावट की उम्मीद लगाना बेमानी होगा। 21 जून को आ रही दूसरी कटऑफ में दर्ज होने वाली गिरावट कहीं न कहीं ह्यूमेनिटीज और साइंस पाठ्यक्रमों में सीमित रहने की उम्मीद है।

श्रीराम कॉलेज ऑफ कॉमर्स (एसआरसीसी) के प्रिंसिपल डॉ. पीसी जैन ने बताया कि तीन दिन की दाखिला प्रक्रिया में ही उनके यहां उपलब्ध बीकॉम ऑनर्स की 252 सीटों में 398 दाखिले हो चुके हैं और अभी सोमवार का दिन बाकी है, इसलिए दूसरी कटऑफ जारी करने का सवाल ही पैदा नहीं होता है।


हालांकि, इकोनॉमिक्स ऑनर्स में सामान्य श्रेणी के लिए 62 सीटों पर 70 दाखिले हुए वहां सोमवार को यदि 10 या इससे ज्यादा दाखिले हो जाएंगे तो यहां भी कटऑफ नहीं जारी की जाएगी, लेकिन यदि ऐसा नहीं होता है तो सम्भव है कि 0.25 प्रतिशत या इससे कम की गिरावट कर दूसरी कटऑफ जारी हो। एसआरसीसी की तरह ही हिन्दू कॉलेज में भी बीकॉम ऑनर्स की दूसरी कटऑफ जारी नहीं होने जा रही है। 

यहां बीकॉम ऑनर्स की 65 सीटों पर तीन ही दिन में 143 दाखिले हो चुके हैं। चूंकि, अभी एक दिन बाकी है तो कॉलेज में दाखिले का आंकड़ा 150 के पार जाना तय है। ऐसे में जब सीटों के मुकाबले करीब तीन गुना दाखिले हो जाएंगे तो कॉलेज दूसरी कटऑफ जारी करने का जोखिम कतई नहीं उठाएगा।

कॉलेज प्रिंसिपल प्रो. विनय कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि हमारे यहां भी इकोनॉमिक्स में कटऑफ जारी करने का निर्णय सोमवार के दाखिलों के बाद ही होगा, क्योंकि अभी तक 54 सीटों पर 68 दाखिले हुए हैं और बीते साल के ट्रेंड के मुताबिक व्रिडॉल का स्तर आया तो इकोनॉमिक्स की दूसरी कटऑफ नहीं जारी की जाएगी। 

हिन्दू, एसआरसीसी की तरह मिरांडा कॉलेज की बात करें तो यहां मैथमेटिक्स ऑनसर्, इकोनॉमिक्स ऑनसर्, राजनीति विज्ञान ऑनर्स और फिजिक्स, केमिस्ट्री की दूसरी कटऑफ सामान्य श्रेणी के लिए आ पाना मुश्किल है। 

कॉलेज प्रिंसिपल डॉ. प्रतिभा जौली की मानें तो बीते सालों के ट्रेंड के मुताबिक हम भी व्रिडॉल को देखते हुए सीटों से अधिक दाखिले कर चुके हैं और यदि सोमवार के बाद महसूस होता है कि सभी सीटें भरी रह जाएंगी तो दूसरी कटऑफ नहीं जारी की जाएगी। 

पापुलर कोर्सेज में यदि 95 प्रतिशत व उससे अधिक अंक लाने वाले छात्र-छात्राओं की बात करें तो टॉप कॉलेजों में उपलब्ध अवसर सोमवार तक ही सीमित हैं और उसके बाद मुमकिन है कि उनके हाथ आया मौका चला जाए, इसलिए आज ही दाखिल सुनिश्चित कर लेना बेहतर होगा। 

पहली से दूसरी कटऑफ में गिरावट की बात करें तो कैम्पस कॉलेजों में किरोड़ीमल कॉलेज, रामजस, हंसराज कॉलेज के साथ-साथ ऑउट ऑफ कैम्पस कॉलेजों में कटऑफ नीचे आएगी, लेकिन यह गिरावट भी 1 से 2 प्रतिशत से ज्यादा नीचे जाने की उम्मीद नहीं है। 

दीन दयाल उपाध्याय कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ. एसके गर्ग ने बताया कि बिना आवेदन के अंजाम दी जा रही इस बार की दाखिला प्रक्रिया के ओवर एडमिशन का खतरा टला नहीं है। 92 प्रतिशत की कटऑफ निकलने पर बीकॉम ऑनर्स में उनके यहां 123 सीटों के लिए 64 दाखिले हो चुके हैं। 

जबकि, पिछले साल तक यह आंकड़ा 20-25 तक सीमित रहता था। ऐसे में कटऑफ में मामूली गिरावट तो मुमकिन है, लेकिन भारी गिरावट की आस लगाना बेकार है। इसके कारण पहली कटऑफ में जहां भी मनमाफिक कोर्स मिल रहा है, वहां दाखिला ले लेना ही बेहतर होगा।

यहां मुश्किल है दूसरी कटऑफ

एसआरसीसी- बीकॉम ऑनर्स।
मिरांडा हाउस- मैथमेटिक्स ऑनर्स, इकोनॉमिक्स, फिलॉस्फी, फिजिक्स और केमिस्ट्री।
हिन्दू कॉलेज-बीकॉम ऑनर्स।
हंसराज कॉलेज-कम्प्यूटर साइंस।
आईपी कॉलेज-मैथमेटिक्स ऑनर्स।
श्री वेंकटेश्वरा कॉलेज-अंग्रेजी व केमिस्ट्री ऑनर्स।

क्या है कटऑफ में दाखिले का खेल

एक कटऑफ से दूसरी कटऑफ के बीच होने वाले दाखिले के खेल में टॉपर्स के पिछड़ने या फिर जिन छात्रों को नम्बर आया गया है उनका नम्बर कटने की वजह बेहद सहज है। 

डिप्टी डीन छात्र कल्याण डॉ. गुरप्रीत सिंह टुटेजा बताते हैं कि किरोड़ीमल कॉलेज में बीकॉम ऑनर्स के लिए दाखिले की कटऑफ 97 प्रतिशत है। ऐसे में यदि दूसरी कटऑफ में 2 प्रतिशत की गिरावट के साथ 95 प्रतिशत की कटऑफ निकलती है तो इसमें 95 प्रतिशत से 96.99 प्रतिशत तक अंक हासिल करने वाले छात्रों को ही अवसर मिलेगा। 

साफ है कि यदि किसी पाठ्यक्रम में नम्बर आ रहा है तो अगली कटऑफ में अवसर बराकरार रहेगा, ऐसा हो पाना मुमकिन नहीं है। इसके चलते आखिरी दिन का फायदा उठाना चाहिए क्योंकि कहीं ऐसा न हो जाए कि बाद में पछताना पड़े(दैनिक भास्कर,दिल्ली,20.6.11)।

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