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23 जुलाई 2011

मध्यप्रदेशःनिजी नर्सिग होम, स्कूलों पर कसेगी नकेल कसेगी सरकार

प्रदेश में निजी नर्सिग होम और शिक्षा संस्थाओं की कथित मनमानी पर लगाम कसने के लिए नियामक संस्थाओं का गठन किया जाएगा। इन संस्थाओं में मरीजों व छात्रों से मनमानी राशि वसूलने की शिकायतों को देखते हुए सरकार यह कदम उठाने जा रही है।

मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने शुक्रवार को विधानसभा में भाजपा विधायक विश्वास सारंग द्वारा लाए गए अशासकीय संकल्प पर हुई चर्चा का उत्तर देते हुए यह बात कही। उन्होंने कहा कि ऐसा नहीं है कि सारी संस्थाएं एक जैसी हैं। अनेक निजी अस्पताल और स्कूल ऐसे भी हैं जो सेवा भावना से काम कर रहे हैं। लेकिन कई उदाहरण ऐसे भी हैं जहां सिर्फ पैसा कमाने के लिए काम किया जा रहा है।

नहीं मिलते हैं चिकित्सक
सीएम ने माना कि सरकारी सहूलियतों के बावजूद मरीजों को उपचार के लिए निजी अस्पतालों और नर्सिग होम्स में जाना पड़ता है। चिकित्सा क्षेत्र में संसाधनों की तुलना में चिकित्सकों की संख्या बहुत कम है। पहले जब सरकार ने चिकित्सकों की प्राइवेट प्रैक्टिस पर बंदिश लगाई थी तो बड़ी संख्या में चिकित्सकों ने नौकरी छोड़ दी थी। इसलिए यह जरूरी है कि ऐसी निजी संस्थाओं के कार्यो को निगरानी के दायरे में लाने के लिए नियामक संस्था का गठन किया जाए। चौहान ने कहा कि इस काम के लिए हड़बड़ी नहीं दिखाई जानी चाहिए। इसलिए वे सारंग से आग्रह करते हैं कि वे संकल्प वापस ले लें। इस पर सारंग ने संकल्प वापस ले लिया(दैनिक भास्कर,भोपाल,23.7.11)।

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