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09 अगस्त 2011

डीयू में ओबीसी कटऑफ में गिरावट की सीमा खत्म,ओबीसी की दो सूची और जारी होंगी

21 जुलाई को शुरू हुए नए सत्र के साथ दिल्ली विश्वविद्यालय में बंद हुई दाखिला खिड़की एक बार फिर ओबीसी श्रेणी के छात्रों के लिए खोली जाएगी। इस बार अधिकतम 10 प्रतिशत गिरावट की सीमा को भी खत्म कर दिया गया है।

विश्वविद्यालय रजिस्ट्रार की ओर से जारी आदेशों के तहत 10 फीसदी की अधिकतम गिरावट की सीमा से आगे जाकर भी कॉलेज अपने यहां ओबीसी की खाली सीटों को भर सकते हैं। इन सीटों को भरने के लिए आठवीं कटऑफ 9 अगस्त को जारी होगी। इसके दाखिले 10 व 11 अगस्त को अंजाम दिए जाएंगे।

इसके बाद 11 अगस्त को नौवीं कटऑफ लिस्ट जारी की जाएगी, जिसके लिए 12, 13 और 16 अगस्त तक दाखिले किए जाएंगे। रजिस्ट्रार की ओर से जारी आदेशों के तहत कॉलेजों को स्पष्ट कर दिया गया है कि अब उनका लक्ष्य ओबीसी की खाली सीटों को हर हाल में भरना होना चाहिए, क्योंकि खाली सीटों को अन्य श्रेणी के लिए स्थानांतरण की व्यवस्था नहीं होगी।


दाखिल प्रक्रिया के बाद 16 अगस्त को एक बार फिर से कॉलेजों को खाली बची सीटों का ब्योरा विश्वविद्यालय को सौंपना होगा।


कॉलेजों की बढ़ गई टेंशन

नए फरमान के बाद कुछ कॉलेज निश्चिंत नजर आ रहे हैं, पर कुछ की टेंशन बढ़ गई है। दीन दयाल उपाध्याय कॉलेज के प्रिंसिपल डॉ.एसके गर्ग का कहना है कि एक बार फिर से मेरे यहां बीकॉम ऑनर्स में ओबीसी की सीटें खाली होने की संभावना बढ़ गई है। हमारे यहां बीकॉम ऑनर्स में ओबीसी की कुल 33 सीटें हैं, पर खाली बची 11 सीटों को भरने के लिए फिर से शुरू हो रही दाखिला प्रक्रिया के तहत केवल 11 नहीं बल्कि 33 आवेदकों की जरूरत पड़ेगी। 

दरअसल कटऑफ में गिरावट का फायदा फिर से ओबीसी के वे छात्र उठाएंगे जो पहले ही दाखिला पा चुके हैं। श्रीराम कॉलेज ऑफ कॉमर्स के प्रिंसिपल डॉ.पीसी जैन का कहना है कि हमारे यहां बीकॉम ऑनर्स में ओबीसी की 135 सीटों पर 149 और ईकोनॉमिक्स में 33 सीटों पर 42 दाखिले हो चुके हैं। ऐसे में कुछ बच्चे चले भी जाएंगे तो कोई फर्क नहीं पड़ेगा। इस विषय में डॉ.गर्ग का कहना कि उनके यहां अभी 40 सीटें खाली हैं(दैनिक भास्कर,दिल्ली,9.8.11)। 

नई दुनिया की रिपोर्टः
दिल्ली विश्वविद्यालय में अन्य पिछड़े वर्ग के दाखिले के लिए दो कट ऑफ लिस्ट और जारी होगी। इस बार सामान्य वर्ग से १० फीसदी का बैरियर खत्म कर दिया गया है। कॉलेज चाहे तो सामान्य वर्ग की अंतिम कट ऑफ लिस्ट में दस फीसदी से ज्यादा छूट देकर दाखिला दे सकता है। 

कॉलेजों में पिछले माह २१ जुलाई तक ओबीसी के लिए छठी और सातवीं कट ऑफ लिस्ट जारी की गई थी। इसके बावजूद कहीं १० तो कहीं करीब १५ फीसदी सीटें खाली रह गई थीं। सामान्य वर्ग से दस फीसदी तक नीचे कट ऑफ लिस्ट गिराने के बाद भी छात्र दाखिला लेने नहीं पहुंचे। विश्वविद्यालय प्रशासन इस मामले में अदालत में चल रही सुनवाई का इंतजार कर रहा था। अब प्रशासन ने बची हुई सीटों को भरने के लिए यह निर्णय लिया है। 

कॉलेजों को आठवीं कट ऑफ लिस्ट के बारे में ९ अगस्त को विश्वविद्यालय को सूचित करना होगा। इस कट ऑफ के आधार पर १० और ११ अगस्त को दाखिला लेकर फीस जमा करानी होगी। नौंवी लिस्ट के लिए ११ अगस्त को फिर से विश्वविद्यालय प्रशासन को सूचित करना होगा। इसके बाद १२, १३ और १६ अगस्त को छात्रों को दाखिला मिलेगा। इसके बाद भी सीटें खाली रह जाती हैं तो १६ अगस्त को कॉलेज प्रशासन कोर्स के हिसाब से रजिस्ट्रार को ब्योरो भेंजेगे।

कॉलेजों में ओबीसी की सीटें कहीं १० फीसदी तो कहीं १५ फीसदी रह गई हैं। कई कॉलेजों में सीटें भर गई हैं। एसआरसीसी में अर्थशास्त्र आनर्स में १२ सीटों पर ज्यादा दाखिले हुए हैं। यही हाल बीकॉम आनर्स का भी है। आरएलए कॉलेज में करीब ५० सीटें खाली हैं पर कई कोर्स में ज्यादा दाखिले भी हुए हैं। प्राचार्य विजय शर्मा ने बताया कि लिस्ट निकालने के बारे में मंगलवार को बैठक बुलाई जाएगी। प्रशासन के निर्देशानुसार लिस्ट निकालने पर विचार होगा। दयाल सिंह कॉलेज के प्राचार्य आईएस बख्शी ने बताया कि बीकॉम प्रोग्राम में ४, बीकॉम आनर्स में १३ और अर्थशास्त्र आनर्स में १५ सीटें खाली रह गई थीं। दस फीसदी तक की छूट दे दी गई थी। अब कट ऑफ लिस्ट और नीचे गिराकर बची हुई सीटों को भरने की कोशिश की जाएगी। 

कई कॉलेजों में कुछ कोर्स में सीटें तो खाली हैं पर कई कोर्स में ओबीसी को उपलब्ध सीटों से ज्यादा दाखिले हुए हैं। ऐसे में कई प्राचार्य असमंजस में हैं कि पहले ही ज्यादा दाखिले हो गए हैं। अब आगे की परेशानी कैसे दूर की जाए।

दैनिक जागरण की रिपोर्टः
आखिरकार डीयू प्रशासन ने स्पष्ट कर दिया है कि ओबीसी की सीटों पर सामान्य श्रेणी के छात्रों को दाखिला नहीं दिया जाएगा। हालांकि अभी तक ऐसा अनुमान लगाया जा रहा था कि डीयू गत वर्षो की तरह इस बार भी ओबीसी की रिक्त सीटों को सामान्य श्रेणी में परिवर्तित कर देगा। इससे सामान्य श्रेणी के छात्रों को दाखिले का मौका मिल सकता था। सोमवार को डीयू रजिस्ट्रार ने प्रेस वक्तव्य जारी कर बताया कि ओबीसी सीटों को भरने के लिए विश्वविद्यालय दो कट ऑफ लिस्ट जारी करेगा। पहली कट ऑफ नौ अगस्त व दूसरी कट ऑफ 11 अगस्त को डीयू की वेबसाइट पर देर रात में जारी की जाएगी। डीयू रजिस्ट्रार आर.के सिन्हा ने बताया कि अन्य पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) के छात्रों के लिए कट ऑफ सामान्य श्रेणी से 10 फीसदी तक कम करने की छूट सुप्रीम कोर्ट ने दी हुई है। अगर सीटें भरने के लिए छूट बढ़ानी पड़ी तो ऐसा किया जाएगा। उन्होंने बताया कि अभी कॉलेजों में ओबीसी की सीटें खाली पड़ी हैं। इन्हें भरने के लिए विश्वविद्यालय ने कॉलेजों से खाली सीटों की स्थिति का ब्योरा मांगा है। खाली सीटें भरने के लिए नौ अगस्त को आठवीं कट ऑफ लिस्ट रात में जारी की जाएगी। इसके तहत दाखिला फीस 10-11 अगस्त को जमा होगी। उसी दिन (11 अगस्त को) डीयू कॉलेज की नवीं कटऑफ लिस्ट देर रात में जारी होगी। इसके बाद कॉलेजों में 16 अगस्त तक दाखिला फीस जमा हो सकेगी। कॉलेजों को 16 अगस्त के बाद भी रजिस्ट्रार कार्यालय को दाखिला स्थिति से संबंधित जानकारी देते हुए सीटों का ब्योरा रात आठ बजे तक भेजने के निर्देश दिए गए हैं। अगर सीटें फिर भी खाली रह जाएंगी तो विवि उन्हें भरने के लिए एक ओर कट ऑफ जारी कर सकता है। गौरतलब है कि दिल्ली विश्वविद्यालय में नया सत्र 21 जुलाई से शुरू हो चुका है। दिल्ली विश्वविद्यालय ने छात्रसंघ चुनावों की घोषणा भी कर दी है। ऐसे में दाखिला प्रक्रिया को फिर से शुरू करने को लेकर कुछ प्राध्यापकों का कहना है कि इस बार सेमेस्टर सिस्टम लागू है और जो भी छात्र दाखिला लेगा, उसका कोर्स एक माह पीछे चला जाएगा। ऐसे में परीक्षाएं क्या देर से आयोजित होंगी?

राष्ट्रीय सहारा की रिपोर्ट भी देखिएः
डीयू अब 10 फीसद से ज्यादा छूट देकर ओबीसी स्टूडेंट्स को कॉलेजों में एडमिशन देगी। इतना ही नहीं कॉलेजों में ओबीसी की बची सीटों को भरने के लिए दो और कटआफ निकालने का निर्णय लिया गया है। विविद्यालय में ओबीसी आरक्षण लागू होने के बाद इस वर्ग के विद्यार्थियों के हित में इसे सबसे बड़े फैसले के तौर पर देखा जा रहा है। विवि प्रशासन के मुताबिक 8वीं कटऑफ मंगलवार को और 9वीं 11 अगस्त को जारी की जाएगी। 8वीं कटऑफ के बेस पर 10 और 11 अगस्त को व 9वीं के बेस पर 12, 13 और 16 अगस्त को एडमिशन होंगे। 16 अगस्त को दाखिला प्रक्रिया पूरी होने के बाद भी यदि सीटें बचती हैं तो उसी सभी कॉलेजों को इसकी रिपोर्ट विवि प्रशासन को देनी होगी। डीयू प्रशासन ने सोमवार को सभी कॉलेजों को एक आदेश जारी कर कहा कि ओबीसी की खाली सीटें हर हाल भरनी हैं। विवि के रजिस्ट्रार राजेश कुमार सिन्हा ने बताया कि इस मामले में उच्च न्यायालय की एकलपीठ के आदेश के बाद मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने इस बाबत निर्देश जारी किया था। विविद्यालय ने ओबीसी दाखिले की कटऑफ में 10 फीसद से अधिक छूट न देने की बाध्यता भी खत्म कर दी है। ओबीसी की सीटें सामान्य या फिर किसी अन्य वर्ग में भी परिवर्तित नहीं होंगी। सभी कॉलेजों को भेजे गए आदेश में कहा गया है कि 7वीं कटऑफ सूची में जिन कॉलेजों ने 10 फीसद तक छूट दी थी, लेकिन इसके बाद भी सीटें खाली रह गई थीं, वे और अधिक छूट देकर कट ऑफ सूची जारी करें। इसके अलावा कॉलेजों को 9 अगस्त रात 8 बजे तक ओबीसी की खाली सीटों का ब्योरा देना होगा, जिसके बाद विविद्यालय खाली सीटों की कटऑफ सूची जारी करेगी। इसके बाद भी सीटें खाली रह जाती हैं तो 11 अगस्त रात 8 बजे तक कॉलेजों को खाली सीटों का ब्योरा देना होगा। 8वीं कटऑफ में 10 फीसद से अधिक छूट के बाद 9वीं कटऑफ में और अधिक छूट दी जाएगी। विविद्यालय के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार ओबीसी सीटें भरने तक कटऑफ को न्यूनतम योग्यता फीसद तक ले जाया जा सकता है।

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