मध्यप्रदेश में नए सत्र के लिए निजी बीएड कॉलेजों की फीस निर्धारण का मामला अटक गया है। कॉलेजों की मान्यता को लेकर बनी हुई पसोपेश की स्थिति के चलते उच्च शिक्षा विभाग अभी तक प्रवेश एवं शुल्क निर्धारण विनियामक समिति को फीस निर्धारण के लिए मान्य कॉलेजों की सूची उपलब्ध नहीं करा सका है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार फीस कमेटी अब एमबीए, एमसीए व मेडिकल की फीस घोषित करने के बाद बीएड, एमएड की फीस निर्धारण का काम शुरू करेगी। गौरतलब है कि कमेटी ने पूर्व में सभी निजी बीएड कॉलेजों से ३१ मार्च १० तक अपने दस्तावेज जमा करने को कहा था। साथ ही उच्च शिक्षा विभाग से मान्य कॉलेजों की सूची मांगी थी, लेकिन मान्यता प्राप्त कॉलेजों को लेकर मामला सुप्रीम कोर्ट में लंबित होने के कारण विभाग कमेटी को मान्य कॉलेजों की सूची अभी तक उपलब्ध नहीं करा सका है। उल्लेखनीय है कि समिति बीएड, एमएड, बीपीएड व एमपीएड की फीस अगले तीन सालों के लिए निर्धारित करने की प्रक्रिया शुरू करने वाली थी।
कॉलेजों का निरीक्षण २५ से
उधर दूसरी ओर प्रदेश के बीएड कॉलेजों की मान्यता को लेकर एक बार फिर मामला ग़ड़ब़ड़ाने लगा है। सुप्रीम कोर्ट की फटकार के बाद राष्ट्रीय अध्यापक शिक्षक परिषद (एनसीटीई) ने कॉलेजों की मान्यता को लेकर सख्त रुख अपना लिया है। एनसीटीई की पश्चिमी क्षेत्रीय समिति बीएड, डीएड, एमएड,बीपीएड व एमपीएड कोर्स संचालित करने वाले भोपाल स्थित १५ कॉलेजों का निरीक्षण २५ जुलाई १० से शुरू करने जा रही है। यह निरीक्षण ८ अगस्त १० तक चलेगा। एनसीटीई की पश्चिमी क्षेत्रीय समिति के क्षेत्रीय निदेशक एचएस त्रिपाठी का कहना है कि सभी कॉलेजों को इस संबंध में सूचना दे दी गई है। साथ ही इस बार एनसीटीई नियमानुसार ही कॉलेजों को पाठ्यक्रमों के लिए मान्यता प्रदान करेगी।
इन कॉलेजों का होगा निरीक्षण
एनसीटीई बीएड, डीएड, एमएड, बीपीएड व एमपीएड कोर्स संचालित करने वाले भोपाल के जिन कॉलेजों का निरीक्षण शुरू करने जा रही है उनमें जवाहर लाल नेहरू कॉलेज ऑफ एज्यूकेशन, भोपाल डिग्री कॉलेज, अमर दिनेश सिंह महाविद्यालय, राजीव गांधी कॉलेज ऑफ एज्यूकेशन, राजीव गांदी कॉलेज, कमलनाथ कॉलेज ऑफ एज्यूकेशन, महर्षि सेंटर फॉर एज्यूकेशनल एक्सलेंस, एईएस कॉलेज ऑफ एज्यूकेशन, श्री चौहान इंस्टीट्यूट ऑफ एज्यूकेशन, न्यू हाइट इंस्टीट्यूट ऑफ एज्यूकेशन, स्वामी विवेकानंद बीएड कॉलेज, कमला नेहरू महाविद्यालय, सेंट जार्ज कॉलेज ऑफ एज्यूकेशन, स्व.श्री भगवान सिंह शर्मा शिक्षा प्रसार समिति तथा गुरुकुल कॉलेज ऑफ एज्यूकेशन शामिल हैं(नई दुनिया,भोपाल,23.7.2010)
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