भारत में शिक्षा सुधारों का दौर जारी है, लेकिन आज भी जब बात उच्च शिक्षा की होती है तो भारतीय छात्रों की नजर विदेशी विश्वविद्यालयों पर टिकती है। विदेश में अमेरिका, ऑस्ट्रेलिया और ब्रिटेन के बाद अब न्यूजीलैंड को खूब पसंद किया जा रहा है।
पायल रावत की रिपोर्टः
शिक्षा के क्षेत्र में जबर्दस्त बदलाव के चलते बीते एक दशक में विदेश जाकर शिक्षा ग्रहण करने वाले छात्रों की संख्या में खासा उछाल आया है। इसका एक अहम कारण विदेश में शिक्षा ग्रहण करने के लिए अनुकूल परिस्थितियां उत्पन्न होना है। वीजा नियमों में सुधार और स्कॉलरशिप के माध्यम से मिलने वाली आर्थिक सहायता के बूते आज हर आय वर्ग का छात्र विदेश में शिक्षा ग्रहण करने का साहस जुटा रहा है। अमेरिका, ब्रिटेन व ऑस्ट्रेलिया ही नहीं, जर्मनी, फ्रांस व न्यूजीलैंड भी छात्रों ने पहुंचना शुरू कर दिया है।
भारतीय विद्यार्थियों को वर्तमान में न्यूजीलैंड की उच्च शिक्षा काफी प्रभावित कर रही है। हाल में ऑस्ट्रेलिया में हुए हादसों ने भी छात्रों को इस ओर देखने के लिए मजबूर कर दिया है। चार करोड़ से ज्यादा की आबादी वाले इस देश में अंतरराष्ट्रीय विद्यार्थी पढ़ाई के साथ-साथ अन्य गतिविधियों में खूब बढ़चढ़ कर शिरकत करते है, जिनमें क्रिकेट, रग्बी, नेटबॉल, बैडमिंटन, टेनिस आदि खेलों के नाम प्रमुख हैं। न्यूजीलैंड में उच्च शिक्षा के क्षेत्र में नब्बे के दशक में वहां की सरकार द्वारा किए गए परिवर्तनों के कारण भी अंतरराष्ट्रीय विद्यार्थियों की संख्या में इजाफा हुआ है। वर्तमान में बीस हजार से अधिक विदेशी छात्र-छात्रएं न्यूजीलैंड में शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं।
उपलब्ध पाठय़क्रम
न्यूजीलैंड के विभिन्न शिक्षण संस्थानों और विश्वविद्यालयों में अधिकतर सभी विषयों के शिक्षण-प्रशिक्षण की सुविधा उपलब्ध रहती है। इन विषयों में इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी, बिजनेस स्टडी, साइंस एंड टेक्नोलॉजी के अलावा साइंस, आर्ट्स, कम्प्यूटर एंड मैथमेटिकल साइंस, सोशल साइंस आदि का नाम प्रमुख है। इसके अलावा यहां की शिक्षा व्यवस्था की विशेषता है कि स्नातक की डिग्री के बाद यदि कोई छात्र या छात्र अपने विषय में बदलाव चाहता है तो उसे एक वर्ष और अधिक पढ़ाई करनी होगी। ऐसी परिस्थितियों में उसे मास्टर की डिग्री को पूरा करने में तीन साल का समय लगता है।
पांच प्रमुख संस्थान
यूनिवर्सिटी ऑफ ऑकलैंड
विक्टोरिया यूनिवर्सिटी ऑफ वेलिंगटन
यूनिवर्सिटी ऑफ वैक्टो
यूनिवर्सिटी ऑफ कै टरबरी
यूनिवर्सिटी ऑफ ओटेगो
आवेदन का समय
आवेदन के समय की बात करें तो न्यूजीलैंड के अधिकतर पाठय़क्रम दो सेमेस्टरों में बंटे हुए हैं, जिनके लिए मुख्य सत्र फरवरी माह से शुरू होकर जून तक चलता है और दूसरा सत्र जुलाई से नवम्बर तक का होता है। आवेदन के लिए अमूमन प्रक्रिया सत्र की शुरुआत से दो माह पूर्व शुरू हो जाती है।
अध्ययन का खर्च
अमेरिका व ब्रिटेन के मुकाबले यहां शिक्षण पर आने वाला खर्च काफी कम रहता है। यहां के विभिन्न संस्थानों में अध्ययन का खर्च अलग-अलग है। अंडरग्रेजुएट और पोस्ट ग्रेजुएट कोर्सों में विभिन्न विषयों के अध्ययन में अलग-अलग फीस है, किसी भी कोर्स में दाखिले के बाद यहां के संस्थानों में टय़ूशन फीस पर सालाना लगभग 12 से 20 हजार न्यूजीलैंड डॉलर की फीस लगती है।
अगर भारतीय मुद्रा की बात करें तो यहां सालाना पढ़ाई का खर्च लगभग सात से बारह लाख रुपये के बीच आता है।
रहने का खर्च
न्यूजीलैंड के शहरों में पढ़ाई के दौरान छात्र-छात्राओं का खर्च एक समान ही रहता है। यहां रहने, खाने के खर्च की बात करें तो यह सालाना दो से तीन लाख रुपये के बीच आता है।
पढ़ाई के साथ कमाई
शिक्षण सत्र के दौरान न्यूजीलैंड में पढ़ाई करने वाले अंतरराष्ट्रीय छात्र-छात्राएं पार्ट टाइम काम भी कर सकते हैं। बैचलर व मास्टर डिग्री से संबंधित विषयों के विद्यार्थी सत्र के दौरान सप्ताह में केवल बीस घंटे ही कार्य कर सकते हैं, जबकि अवकाश के दिनों में पार्ट टाइम कार्य करने की छूट रहती है। इसके अलावा स्थानीय सरकार के द्वारा भी अंतरराष्ट्रीय विद्यार्थियों को कोर्स के उपरांत छह महीने तक वहां कार्य करने की छूट प्रदान की जाती है।
वीजा नियम
न्यूजीलैंड में उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए वीजा लेना आवश्यक है। आवेदन पत्र न्यूजीलैंड दूतावास तथा संबद्ध केन्द्रों पर उपलब्ध होता है। इस संबंध में ज्यादा जानकारी के लिए न्यूजीलैंड दूतावास में सम्पर्क करना बेहतर होगा।
सम्पर्क करें
न्यूजीलैंड हाईकमीशन,
सर एडमंड हिलेरी मार्ग, चाणक्यपुरी, नई दिल्ली-110021
कुछ अहम वेबसाइट्स
www.educationnz.org.nz
www.newzealandeducated.com/scholarship
www.nynzed.com
www.seek.co.nz
छात्रवृत्ति की सुविधा
अंतरराष्ट्रीय विद्यार्थियों को यहां कई तरह की स्कॉलरशिप/ अवॉर्ड की सुविधा भी मिलती है :
न्यूजीलैंड इंटरनेशनल डॉक्टरल रिसर्च स्कॉलरशिप
न्यूजीलैंड इंटरनेशनल अंडरग्रेजुएट फीस स्कॉलरशिप
न्यूजीलैंड अंडरग्रेजुएट स्टडी एब्रॉड अवॉर्ड
न्यूजीलैंड पोस्ट ग्रेजुएट स्टडी एब्रॉड अवॉर्ड
पायल रावत की रिपोर्टः
शिक्षा के क्षेत्र में जबर्दस्त बदलाव के चलते बीते एक दशक में विदेश जाकर शिक्षा ग्रहण करने वाले छात्रों की संख्या में खासा उछाल आया है। इसका एक अहम कारण विदेश में शिक्षा ग्रहण करने के लिए अनुकूल परिस्थितियां उत्पन्न होना है। वीजा नियमों में सुधार और स्कॉलरशिप के माध्यम से मिलने वाली आर्थिक सहायता के बूते आज हर आय वर्ग का छात्र विदेश में शिक्षा ग्रहण करने का साहस जुटा रहा है। अमेरिका, ब्रिटेन व ऑस्ट्रेलिया ही नहीं, जर्मनी, फ्रांस व न्यूजीलैंड भी छात्रों ने पहुंचना शुरू कर दिया है।
भारतीय विद्यार्थियों को वर्तमान में न्यूजीलैंड की उच्च शिक्षा काफी प्रभावित कर रही है। हाल में ऑस्ट्रेलिया में हुए हादसों ने भी छात्रों को इस ओर देखने के लिए मजबूर कर दिया है। चार करोड़ से ज्यादा की आबादी वाले इस देश में अंतरराष्ट्रीय विद्यार्थी पढ़ाई के साथ-साथ अन्य गतिविधियों में खूब बढ़चढ़ कर शिरकत करते है, जिनमें क्रिकेट, रग्बी, नेटबॉल, बैडमिंटन, टेनिस आदि खेलों के नाम प्रमुख हैं। न्यूजीलैंड में उच्च शिक्षा के क्षेत्र में नब्बे के दशक में वहां की सरकार द्वारा किए गए परिवर्तनों के कारण भी अंतरराष्ट्रीय विद्यार्थियों की संख्या में इजाफा हुआ है। वर्तमान में बीस हजार से अधिक विदेशी छात्र-छात्रएं न्यूजीलैंड में शिक्षा ग्रहण कर रहे हैं।
उपलब्ध पाठय़क्रम
न्यूजीलैंड के विभिन्न शिक्षण संस्थानों और विश्वविद्यालयों में अधिकतर सभी विषयों के शिक्षण-प्रशिक्षण की सुविधा उपलब्ध रहती है। इन विषयों में इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी, बिजनेस स्टडी, साइंस एंड टेक्नोलॉजी के अलावा साइंस, आर्ट्स, कम्प्यूटर एंड मैथमेटिकल साइंस, सोशल साइंस आदि का नाम प्रमुख है। इसके अलावा यहां की शिक्षा व्यवस्था की विशेषता है कि स्नातक की डिग्री के बाद यदि कोई छात्र या छात्र अपने विषय में बदलाव चाहता है तो उसे एक वर्ष और अधिक पढ़ाई करनी होगी। ऐसी परिस्थितियों में उसे मास्टर की डिग्री को पूरा करने में तीन साल का समय लगता है।
पांच प्रमुख संस्थान
यूनिवर्सिटी ऑफ ऑकलैंड
विक्टोरिया यूनिवर्सिटी ऑफ वेलिंगटन
यूनिवर्सिटी ऑफ वैक्टो
यूनिवर्सिटी ऑफ कै टरबरी
यूनिवर्सिटी ऑफ ओटेगो
आवेदन का समय
आवेदन के समय की बात करें तो न्यूजीलैंड के अधिकतर पाठय़क्रम दो सेमेस्टरों में बंटे हुए हैं, जिनके लिए मुख्य सत्र फरवरी माह से शुरू होकर जून तक चलता है और दूसरा सत्र जुलाई से नवम्बर तक का होता है। आवेदन के लिए अमूमन प्रक्रिया सत्र की शुरुआत से दो माह पूर्व शुरू हो जाती है।
अध्ययन का खर्च
अमेरिका व ब्रिटेन के मुकाबले यहां शिक्षण पर आने वाला खर्च काफी कम रहता है। यहां के विभिन्न संस्थानों में अध्ययन का खर्च अलग-अलग है। अंडरग्रेजुएट और पोस्ट ग्रेजुएट कोर्सों में विभिन्न विषयों के अध्ययन में अलग-अलग फीस है, किसी भी कोर्स में दाखिले के बाद यहां के संस्थानों में टय़ूशन फीस पर सालाना लगभग 12 से 20 हजार न्यूजीलैंड डॉलर की फीस लगती है।
अगर भारतीय मुद्रा की बात करें तो यहां सालाना पढ़ाई का खर्च लगभग सात से बारह लाख रुपये के बीच आता है।
रहने का खर्च
न्यूजीलैंड के शहरों में पढ़ाई के दौरान छात्र-छात्राओं का खर्च एक समान ही रहता है। यहां रहने, खाने के खर्च की बात करें तो यह सालाना दो से तीन लाख रुपये के बीच आता है।
पढ़ाई के साथ कमाई
शिक्षण सत्र के दौरान न्यूजीलैंड में पढ़ाई करने वाले अंतरराष्ट्रीय छात्र-छात्राएं पार्ट टाइम काम भी कर सकते हैं। बैचलर व मास्टर डिग्री से संबंधित विषयों के विद्यार्थी सत्र के दौरान सप्ताह में केवल बीस घंटे ही कार्य कर सकते हैं, जबकि अवकाश के दिनों में पार्ट टाइम कार्य करने की छूट रहती है। इसके अलावा स्थानीय सरकार के द्वारा भी अंतरराष्ट्रीय विद्यार्थियों को कोर्स के उपरांत छह महीने तक वहां कार्य करने की छूट प्रदान की जाती है।
वीजा नियम
न्यूजीलैंड में उच्च शिक्षा प्राप्त करने के लिए वीजा लेना आवश्यक है। आवेदन पत्र न्यूजीलैंड दूतावास तथा संबद्ध केन्द्रों पर उपलब्ध होता है। इस संबंध में ज्यादा जानकारी के लिए न्यूजीलैंड दूतावास में सम्पर्क करना बेहतर होगा।
सम्पर्क करें
न्यूजीलैंड हाईकमीशन,
सर एडमंड हिलेरी मार्ग, चाणक्यपुरी, नई दिल्ली-110021
कुछ अहम वेबसाइट्स
www.educationnz.org.nz
www.newzealandeducated.com/scholarship
www.nynzed.com
www.seek.co.nz
छात्रवृत्ति की सुविधा
अंतरराष्ट्रीय विद्यार्थियों को यहां कई तरह की स्कॉलरशिप/ अवॉर्ड की सुविधा भी मिलती है :
न्यूजीलैंड इंटरनेशनल डॉक्टरल रिसर्च स्कॉलरशिप
न्यूजीलैंड इंटरनेशनल अंडरग्रेजुएट फीस स्कॉलरशिप
न्यूजीलैंड अंडरग्रेजुएट स्टडी एब्रॉड अवॉर्ड
न्यूजीलैंड पोस्ट ग्रेजुएट स्टडी एब्रॉड अवॉर्ड
(हिंदुस्तान,दिल्ली,12.10.2010)
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