दसवीं कक्षा के परीक्षाओं की घोषणा महाराष्ट्र बोर्ड ने दे दी है। इसके बावजूद भी बीएमसी के स्कूलों में पढ़ने वाले 11,187 छात्रों को प्रश्न पुस्तिका नहीं मिली है। इसी को लेकर सोमवार को हुई शिक्षण समिति के बैठक का नगरसेवकों ने विरोध किया और बैठक से पूरे दिन के लिए वाकआउट किया।
छात्रों को प्रश्न पुस्तिका देने की मांग 30 नवंबर को हुई शिक्षण समिति की बैठक में नगरसेवकों ने किया था जिसे बीएमसी प्रशासन ने स्वीकार भी किया था और जल्द से जल्द छात्रों को पुस्तक वितरित करने का वादा किया। इस बारे में शिक्षण समिति की अध्यक्ष रुक्मिणी खरटमोल ने बताया दसवीं के स्टूडेंट्स का प्रश्न पुस्तिका बांटने में कुल साढ़े आठ लाख रुपये खर्च आ रहे और इसकी मंजूरी डिप्टी म्यूनिसिपल कमिश्नर अरविंद हिरे अपने स्तर पर ही कर सकते हैं, मगर उन्होंने इस प्रस्ताव को एडिशसनल कमिश्नर के पास भेज दिया जिससे अभी तक पुस्तकें खरीदी तक नहीं गई जबकि बोर्ड ने परीक्षाएं घोषित कर दी है।
सोमवार को शिक्षण समिति के बैठक में शिवसेना के नगरसेवक राजा चौगुले ने यह मुद्दा उठाया। चौगुले का समर्थन समिति के सभी सदस्यों ने किया और एकमत से बैठक से वाकआउट करने का निर्णय किया। इस बाबत प्रशासन कुछ भी जानकारी देने के लिए तैयार नहीं हैं। इस बाबत शिक्षा समिति अध्यक्ष ने डीएमसी को हटाने की मांग की है वर्ना उनके खिलाफ कमिश्नर के दफ्तर के सामने ही काले झंडे लेकर मोर्चा निकालेगी(नवभारत टाइम्स,मुंबई,28.12.2010)।
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