सूबे के पांचों विश्वविद्यालयों के शिक्षकों को यूजीसी वेतनमान के तहत पगार पाने के लिए अभी इंतजार करना होगा। वेतन देने से पहले शिक्षकों की प्रोन्नति की जांच की जाएगी। देखा जाएगा कि शिक्षकों को दी गई प्रोन्नति यूजीसी के मानकों के अनुरूप है या नहीं। जिन शिक्षकों को यूजीसी के मानकों के अनुसार प्रोन्नति मिली है, उनका वेतन निर्धारण किया जाएगा। इसके बाद यूजीसी के अनुसार वेतन भुगतान किया जाएगा।
प्रोन्नति की जांच और वेतन निर्धारण के लिए राज्य के पांचों विश्वविद्यालयों में कुलपति की अध्यक्षता में पांच सदस्यीय कमेटी गठित की जाएगी। इधर, यूजीसी वेतनमान नहीं मिलने के कारण शिक्षकों में आक्रोश बढ़ता जा रहा है। 17 जनवरी को इस मांग को लेकर शिक्षकों ने पांचों विश्वविद्यालय मुख्यालयों में प्रदर्शन भी किया था।
ये रहेंगे कमेटी में:
कुलपति की अध्यक्षता में कमेटी गठित होगी। सदस्यों में प्रति कुलपति समेत मानव संसाधन विकास विभाग द्वारा नामित दो व्यक्तियों को शामिल किया जाएगा। विवि के वित्त पदाधिकारी सदस्य सचिव होंगे। वैसे अभी तक राज्य के किसी भी विश्वविद्यालय में कमेटी गठित नहीं की गई है।
प्रोन्नति जांच के लिए गठित होने वाली कमेटी में मानव संसाधन विकास विभाग के दो सदस्य होंगे। सदस्यों को नामित करने के संबंध में अब तक एक भी विश्वविद्यालय से पत्र नहीं आया है। पत्र मिलते ही एचआरडी द्वारा संबंधित विश्वविद्यालय को दो नामित सदस्यों की सूची भेज दी जाएगी-आरएन त्रिपाठी, उच्च शिक्षा निदेशक
रांची विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा मानव संसाधन विकास विभाग को पत्र भेज दिया गया है। एचआरडी से नामित सदस्यों की सूची का इंतजार है। सदस्यों की सूची मिलते ही कमेटी गठित कर दी जाएगी-वीपी शरण, प्रतिकुलपति, रांची विवि
मानव संसाधन विकास विभाग से कमेटी गठित करने के संबंध में विश्वविद्यालय को पत्र मिला है। कमेटी गठित करने की प्रक्रिया शीघ्र शुरू की जाएगी। मंगलवार को दो सदस्यों के नामित करने के लिए एचआरडी को पत्र भेज दिया जाएगा-डॉ. फिरोज अहमद, वीसी, नीलांबर-पीतांबर विवि(राकेश,दैनिक भास्कर,रांची,1.2.11)
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