इस बार दसवीं के करीब साढ़े आठ लाख छात्र बिना परीक्षा की टेंशन के होली के रंग में सराबोर हो सकेंगे। माशिमं की दसवीं बोर्ड परीक्षा होली के पहले समाप्त हो जाएगी। बारहवीं की परीक्षा एक व दसवीं की दो मार्च से शुरु होगी। परीक्षा के लिए टाईम टेबल की घोषणा एक सप्ताह के अंदर माशिमं करेगा। माध्यमिक शिक्षा मंडल की दसवीं-बारहवीं बोर्ड परीक्षाओं के लिए प्रस्ताव तैयार हो गया है। दसवीं व बारहवीं दोनों परीक्षाएं सरल पेपर से शुरु होगी। बारहवीं एक मार्च व दसवीं दो मार्च से शुरु होगी। इसके बाद दोनों परीक्षाएं एक दिन होंगी। बाहरवीं की परीक्षा का समय सुबह व दसवीं दोपहर में शुरु होगी। दोनों परीक्षाओं के मुख्य पेपरों में दो दिन का गेप दिया गया है। दसवीं की परीक्षा माशिमं होली के पहले समाप्त करेगा। बारहवीं की परीक्षा होली के बाद तक चलेगी। माशिमं के साथ इस बार राज्य ओपन की परीक्षा भी होना है। परीक्षा के लिए प्रश्न पत्र भी माशिमं व राज्य ओपन दोनों छात्रों के लिए समान होंगे। परीक्षा भी माशिमं की समय सारणी के साथ होगी। माशिमं में पिछले वर्ष की अपेक्षा इस बार छात्रों की संख्या बढ़ी है, तो राज्य ओपन के छात्र भी साथ में परीक्षा देंगे। इससे पर्यवेक्षकों व परीक्षा केंद्रों की संख्या गत वर्ष की अपेक्षा बीस से तीस प्रतिशत ज्यादा होगी। वर्ष 2009 की तुलना में वर्ष 2010 में सामूहिक नकल के प्रकरण अधिक होने पर इस बार माशिमं नियमों में सख्ती करने जा रहा है। छात्रों के परीक्षाओं में नकल करने पर उन्हें आगामी तीन साल तक के लिए परीक्षा से बाहर कर दिया जाएगा। नकल प्रकरण में छात्र को जेल की हवा भी खानी पड़ सकती है। बोर्ड परीक्षा के दिशा निर्देशों में जिन प्रकरणों में छात्र नकल करने के प्रयास करते हुए पकड़ा गया हो, उनमें मप्र माध्यमिक शिक्षा अधिनियम 1965 की धारा-8 (क.क.) के अंतर्गत छात्र पर लगे आरोप के आधार पर मंडल द्वारा कार्यवाही की जाएगी। कार्यवाही में छात्र की परीक्षा निरस्त करने से लेकर एक से तीन साल तक के लिए छात्र को परीक्षा से वंचित कर सकते हैं। वहीं परीक्षा केंद्रों पर सामूहिक नकल प्रकरण मिलने पर स्कूलों की मान्यता समाप्त करने के साथ शिक्षकों पर गाज गिरेगी। सामूहिक नकल के प्रकरणों में माशिमं अपने मान्यता नियमों में भी संशोधन कर रहा है।
माध्यमिक शिक्षा मंडल दसवीं-बारहवीं बोर्ड परीक्षाओं के लिए तीस नवंबर को परीक्षा केंद्रों की सूची जारी करेगा। परीक्षा केंद्र के निर्धारण में मार्च 2010 में आयोजित बोर्ड की परीक्षाओं में सामूहिक नकल अथवा नकल के अनेक मामले प्रकाश में आने वाले स्कूलों को यथासंभव पुन: परीक्षा केंद्र नहीं बनाया जाएगा। पिछले वर्ष की तरह इस वर्ष भी प्रस्तावित परीक्षा केंद्रों में संवेदनशील एवं अतिसंवेदनशील परीक्षा केंद्र यथासंभव शासकीय विद्यालयों में ही रहेंगे। परीक्षा केंद्र निर्धारण में यह ध्यान रखा जाएगा कि हायर सेकेंडरी परीक्षा में यथासंभव परीक्षार्थियों को जमीन पर बैठकर परीक्षा नहीं देना पड़े। प्रस्तावित परीक्षा केंद्र में अध्ययनरत छात्र उसी परीक्षा केंद्र से संबंद्ध रखे जाएं तथा अन्य शाला के छात्रों के साथ रेण्डम तरीके से मिलकर ही उन्हें बैठाया जाएगा। परीक्षा केंद्रों की अंतिम सूची जारी करने के पूर्व विशेष रुप से ध्यान रखा जाएगा कि मान्यता प्राप्त शालाओं के अतिरिक्त किसी अन्य शाला को परीक्षा केंद्र नहीं बनाया जाए। सामान्यत: शासकीय शालाओं को ही परीक्षा केंद्र बनाया जाएगा। परीक्षा केंद्रों का चयन इस प्रकार से होगा कि किसी भी शाला की परीक्षा केंद्र से अधिकतम दूरी यथासंभव दस किलोमीटर होगी। प्रस्तावित परीक्षा केंद्र पुलिस थाना/ चौकी से नजदीक होना चाहिए। ताकि प्रश्नपत्र सुरक्षित रखने की व्यवस्था हो सके तथा आवश्यकता पड़ने पर परीक्षा के समय पुलिस बल उपलब्ध हो सके(नीरज गौड,दैनिक जागरण,भोपाल,28.11.2010)।
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