विधि प्रवेश परीक्षा में गलत नंबर और कापी जांचने को लेकर अनशन पर बैठे छात्रों की हालत गुरुवार को और बिगड़ी गई। विश्वविद्यालय प्रशासन अभी तक इस मामले पर कोई निर्णय नहीं ले सका है।
इलाहाबाद विश्वविद्यालय के रजिस्ट्रार कार्यालय के पास तीन दिनों से विधि प्रथम वर्ष के छात्र अनशन कर रहे हैं। अनशन पर बैठे हुए एक छात्र शिवा त्रिपाठी की हालत बुधवार को खराब होने पर कर्नलगंज पुलिस ने उसे बेली अस्पताल में भर्ती कराया था। अस्पताल से वह भी रात को ही वापस दुबारा अनशन स्थल पर पहुंच गया। इधर गुरुवार को छात्र सुनील पांडेय और देवदत्त की हालत भी खराब हो गई। विश्वविद्यालय के डीएसडब्लू आरके सिंह ने अनशन स्थल पर पहुंचकर 29 नवंबर को जांच रिपोर्ट आने की बात कहकर आमरण अनशन समाप्त करने को कहा लेकिन छात्र अनशन से हटने को तैयार नहीं हुए। अनशन पर सुनील मौर्या, आशुतोष शुक्ला, सनातन पांडेय, सावंत मिश्र, प्रेमनाथ, अनुपम दुबे, बच्चा पासी, गौरव तिवारी, दिनेश पाल, आशुतोष सिंह आदि मौजूद थे। सभी छात्रों की एक स्वर में मांग थी कि जब तक विधि प्रथम वर्ष के छात्रों का इयर बैक की जगह सेमेस्टर बैक नहीं किया जाएगा, आंदोलन जारी रहेगा। उनका आरोप था कि बीएफए और एमए की कापी जांचने में भी गड़बड़ी की गई। देर शाम पुलिस भी विश्वविद्यालय स्थित अनशन स्थल पर पहुंची। अनशनकारी सुनील पांडेय का कहना था कि रिपोर्ट आने के बाद ही वह अनशन से हटने का निर्णय करेंगे(दैनिक जागरण संवाददाता,इलाहाबाद,25.11.2010)।
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