राष्ट्रीय उपभोक्ता आयोग ने अखिल भारतीय तकनीकी शिक्षा परिषद (एआइसीटीई) से जुड़े शिक्षण संस्थानों में नामांकन कराने वाले छात्रों के हक में एक अहम व्यवस्था दी है। आयोग ने कहा है कि एआइसीटीई से जुड़े संस्थान कोर्स शुरू होने से पहले नामांकन वापस लेने वाले छात्र की पूरी फीस लौटाने के लिए बाध्य हैं। सर्वोच्च उपभोक्ता शिकायत निवारण फोरम ने कहा है कि संस्थान अपना नामांकन वापस लेने वाले छात्रों की पूरी फीस महज इस आधार पर जब्त नहीं कर सकते कि नामांकन के लिए जारी विवरणिका और विज्ञापन में इसके लिए पहले से चेतावनी दी गई थी। उपभोक्ता फोरम की एकल पीठ ने अपने एक फैसले में कहा, संस्थानों को यह तर्क देने की इजाजत नहीं दी जा सकती कि विज्ञापन और शर्त में इसका उल्लेख किया गया था कि शिकायतकर्ता की फीस और अन्य शुल्क लौटाने से इंकार कर दिया जाएगा। आयोग ने यह आदेश पंजाब के जालंधर निवासी सरवप्रीत सिंह द्वारा दायर शिकायत पर दिया। सिंह ने फिरोजपुर स्थित लाला लाजपत राय इंस्टीट्यूट ऑफ इंजीनियरिंग एंड टेक्नोलॉजी से अपनी फीस लौटाने की मांग की थी। पंजाब टेक्निकल यूनिवर्सिटी से संयुक्त प्रवेश परीक्षा के जरिये चयनित होने के बाद सिंह ने उस संस्थान में जरूरी फीस जमाकर नामांकन कराया था। बाद में उसे जालंधर स्थित प्रतिष्ठित रीजनल इंजीनियरिंग कॉलेज में भी दाखिला मिल गया। इस पर उसने फिरोजपुर इंजीनियरिंग कॉलेज से अपना नामांकन वापस ले लिया।(दैनिक जागरण,दिल्ली,12.11.2010)।
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