भारत में जिस हिसाब से जनसंख्या बढ़ रही है उसके मुताबिक आगामी दशकों में यहां दुनिया की सबसे बड़ी युवा फौज तैयार हो जाएगी। टीमलीज स्टाफिंग सोल्यूशन फर्म द्वारा किए गए अध्ययन के अनुसार २०२१ तक देश में २५ से २९ आयु वर्ग के पुरुषों की संख्या ६२.५ मिलियन और महिलाओं की संख्या ५७.२ मिलियन, ३० से ३४ आयु वर्ग के पुरुषों की संख्या ६१.६ मिलियन और महिलाओं की संख्या ५४.७ मिलियन पर पहुंच सकती है यानी भारत के पास काम करने वालों की फौज अन्य ब्रिक देशों जैसे ब्राजील, रूस से अधिक होगी। हालांकि, चीन के मुकाबले फिर यह कम हो सकती है। टीमलीज की लेबर रिपोर्ट के मुताबिक, २००८-०९ में कुल रोजगार ३९ करोड़ १५ लाख था जोकि २०१५-१६ में बढ़कर ५१ करोड़ ४१ लाख, २०२०-२१ में ६४ करोड़ लाख तक पहुंच सकता है। रिपोर्ट के मुताबिक, २००८-०९ से २०२५-२६ तक इंश्योरेंस, रीयल एस्टेट, आईटी, इन्फ्रास्ट्रक्चर, बीपीओ, टेलीकॉम, टीचिंग एवं इंजीनियरिंग क्षेत्र में रोजगार की सर्वाधिक संभावनाएं हैं। ऑनलाइन सोशल नेटवर्किंग साइट "अपना सर्किल डॉट कॉम" के सीईओ योगेश बंसल ने कहा, "देश की जीडीपी नौ फीसदी के करीब तेजी से बढ़ रही है इस हिसाब से रोजगार और नियुक्ति प्रक्रिया में काफी तेजी दर्ज की जा रही है। देखा जा रहा है कि कंपनियों को अपने विस्तारीकरण योजनाओं के तहत ज्यादा से ज्यादा लोगों की जरूर महसूस होने लगी है।" बंसल ने कहा, "भारत युवाओं की फौज तैयार कर रहा है और दुनियाभर की तुलना में यह सर्वाधिक होगी, जिसका फायदा उत्पादता की गुणवत्ता में नजर आएगी।"
अनुमानों को दरकिनार कर यदि आज की बात की जाए तो ऑनलाइन रोजगार पोर्टल मॉनस्टर डॉट कॉम के ताजा सर्वे में पाया गया है कि देश में रोजगार बाजार अक्टूबर माह में भी उत्साहजनक बना रहा और हेल्थकेयर सहित प्रमुख क्षेत्रों में रोजगार के अवसर बढ़े। मॉनस्टर डॉट कॉम ने अपनी एक रिपोर्ट में कहा है कि उसने जिन २७ क्षेत्रों का विश्लेषण किया उनमें से १७ में अक्टूबर में रोजगार के अवसर अच्छे दिखाई दिए। इसके मुताबिक जिन क्षेत्रों में रोजगार की संभावनाएं बढ़ी हैं उनमें हेल्थकेयर, जैव प्रौद्योगिकी एवं जीव विज्ञान, कृषि आधारित उद्योग, उपभोक्ता उद्योग तथा एफएमसीजी हैं। मॉनस्टर डॉट कॉम के प्रबंध निदेशक (भारत/मध्य-पूर्व/दक्षिण-पूर्व एशिया) संजय मोदी ने कहा कि रोजगार बाजार अब भी सकारात्मक बना हुआ है। दीर्घावधि रुख दर्शाता है कि बाजार में सुधार तेजी से हो रहा है। उन्होंने यह भी कहा कि आने वाले समय में हम देश के रोजगार बाजार में सीमित प्रवृत्ति भी देखेंगे। मॉनस्टर रोजगार सूचकांक में भारत की ऑनलाइन जॉब डिमांग की तस्वीर पेश की गई है। सूचकांक अक्टूबर माह के दौरान कुछ गिरावट के साथ १०६ अंकों पर पहुंच गया जबकि पिछले माह यह १०८ पर था। हालांकि पिछले साल के मुकाबले इस माह रोजगार मांग में २२ फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की गई है।
मोदी ने बताया कि कई आर्थिक संकेत इस बात की ओर इशारा कर रहे हैं कि रोजगार की वृद्धि दर काफी उत्साहवर्द्धक है तो वही कुछ जगह इसका दायरा सीमित भी रहा है। अक्टूबर माह के दौरान हॉस्पिटेलिटी, ट्रेवल, मार्केटिंग और कम्यूनिकेशन प्रोफेशनलों की मांग में तेजी से बढ़ोतरी हुई है। वहीं दूसरी ओर, पिछले माह की तुलना में आईटी, फाइनेंस और अकाउंट प्रोफेशनलों की ऑनलाइन रोजगार संभावनाएं कुछ गिरी हैं। विभिन्न शहरों की बात की जाए तो जयपुर में नियुक्ति प्रवृत्ति में तेजी दर्ज की गई है। जयपुर का रोजगार सूचकांक उछलकर ११३ अंकों पर पहुंच गया है, जबकि सितंबर माह में यह १०५ पर था। पिछले माह के मुकाबले दिल्ली-एनसीआर और मुंबई के रोजगार सूचकांकों में कोई खास परिवर्तन नहीं देखा गया।
रोजगार बाजार की बात और आगे की जाए तो कई क्षेत्रों में अदला-बदली की प्रवृत्ति भी देखी जा रही है जो कि बहुत तेजी से बढ़ रही है। योगेश बंसल ने कहा, "बीपीओ टेक्नोलॉजी में नौकरी की अदला-बदली काफी बढ़ गई है क्योंकि इस क्षेत्र में ज्यादातर कर्मचारी युवा हैं। नौकरी बदलने के पीछे भी कई कारण हैं। कर्मचारी कंपनी के माहौल को समझ नहीं पाते हैं। इसके अलावा अमूमन देखा गया है कि लोग इंटरव्यू के दौरान बनावटी बने रहने की कोशिश करते हैं यानी जो वे नहीं हैं उस बात को एचआर मैनेजरों और अन्य अधिकारियों के सामने साबित करने की कोशिश करते हैं।" उन्होंने बताया कि हमारी नेटवर्किंग साइट पर कई लोग अपने इंटरव्यू अनुभवों को बांटते हैं। सभी लोगों को यही सलाह दी जाती है कि वह झूठ का सहारा न लेते हुए सच बोलें और हर बात हां में न करें(आशुतोष वर्मा,नई दुनिया,दिल्ली,15.11.2010)।
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