व्यावसायिक कोर्स कराने वाले कॉलेज छात्रों से साल भर में एक ही बार फीस ले सकेंगे। इसके अलावा जो शुल्क होंगे वे भी निर्धारित होंगे। अन्य किसी भी तरह की फीस पर तकनीकी शिक्षा विभाग ने अंकुश लगा दिया है।
छात्रों से अपनी मर्जी से शुल्क लेने पर कॉलेज की मान्यता भी समाप्त हो सकती है। बी और डी फार्मेसी, एमसीए, एमबीए, बीएड, डीएड, एमएड आदि कोर्सो के लिए सालभर की फीस तय करने के साथ ही दूसरे मदों के नाम पर किसी भी तरह का शुल्क नहीं लिया जा सकेगा।
तकनीकी शिक्षा के अवर सचिव ने आदेश जारी कर यह स्थिति स्पष्ट कर दी है कि छात्र फीस देने में देर करते हैं तो उनसे प्रतिदिन अधिकतम 25 रुपए ही लिया जा सकेगा।
कुछ समय पहले शिकायत भी मिली थी कि कुछ कॉलेजों में 100 रुपए प्रतिदिन लेट फीस तक ले ली जाती थी। कॉशन मनी छात्रों से केवल प्रवेश के समय ही ली जा सकेगी जो बाद में वापसी योग्य होगी(दैनिक भास्कर,रायपुर,27.11.2010)।
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