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08 दिसंबर 2010

चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालयःअधिक फीस वसूलने वाले 22 बीएड संस्थानों पर कार्रवाई

बीएड सत्र 2010-11 में निर्धारित शुल्क से अधिक फीस वसूलना 22 संस्थानों को महंगा पड़ गया है। मंगलवार को चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय में हुई कार्य परिषद की बैठक में इन संस्थानों के खिलाफ कार्रवाई के संबंध में राज्य सरकार को संस्तुति कर दी गई है। स्नातक, परास्नातक और बीड छात्रों को अंकतालिका के साथ प्रोविजनल डिग्री भी दिए जाने के निर्णय पर मोहर लगने से छात्रों को राहत दे दी गई है। विवादों में घिरे कर्मचारियों, शिक्षकों और अधिकारियों की पैरवी यूनिवर्सिटी द्वारा करने के मामले में भी वाद पर विचार के बाद ही कोईर् निर्णय लेने का प्रस्ताव पारित हुआ। दैनिक वेतन कर्मचारी संगठन की मांगों पर पांच सदस्यीय समिति बनाई गई है।

मंगलवार को छात्रों-कर्मचारियों के शोरगुल के बीच कार्य परिषद की बैठक शाम चार बजे शुरू हुई। कई घंटे तक चली बैठक में 30 बिंदुओं पर फैसले हुए। कई अन्य बिंदुओं पर अगली बैठक में निर्णय लिए जाएंगे। बैठक में वीसी प्रो. एनके तनेजा ने सभी सदस्यों को आश्वस्त किया कि कोई भी निर्णय कार्य परिषद के समक्ष प्रस्तुत किए बिना नहीं लिया जाएगा। प्रेस प्रवक्ता एससी पिपलानी ने बताया कि बैठक में प्रो. एनके तनेजा के अलावा अतिरिक्त न्यायधीश एमसी अग्रवाल, प्रो. राकेश कुमार, प्रो. सुरक्षापाल, प्रो. आरएस अग्रवाल, प्रो. वीर सिंह, डॉ. केसी गोयल, डॉ. केसी सिंह, डॉ. आरसी लाल, डॉ. रीता बख्शी, डा. अतवीर सिंह, डॉ. एसके दत्ता, डॉ. एबी लाल, वित्त नियंत्रक एके सिंह और कुलसचिव प्रभात रंजन शामिल रहे।


सौ रुपये दें और कालेज से ही लें प्रोविजनल सर्टिफिकेटः 
प्रोविजनल सर्टिफिकेट लेने के लिए दूर-दराज इलाकों से आने वाले छात्र-छात्राओं को अब यूनिवर्सिटी में नहीं भटकना पड़ेगा। यूनिवर्सिटी ने इस साल से मार्कशीट के साथ-साथ प्रोविजनल सर्टिफिकेट भी देने की सुविधा होगी। अब छात्र कालेज में सौ रुपये जमा कर अस्थायी प्रमाण पत्र हासिल कर सकते हैं। बीएड सत्र 2008-09 के छात्रों को भी इसमें शामिल किया है। 

अधिक फीस वसूली तो फंसेंगे संस्थानः
 22 बीएड संस्थानों पर अधिक फीस वसूली के आरोप सही पाए जाने के बाद यूनिवर्सिटी ने इनके खिलाफ कार्रवाई को राज्य सरकार को संस्तुति दे दी है। बहादुरपुर सरधना रोड स्थित निरंजन इंस्टीट्यूट ऑफ एजूकेशन द्वारा अधिक शुल्क की मांग करने के मामले में संस्थान की संबद्धता समाप्त करने के प्रस्ताव पर भी संस्तुति प्रदान कर दी गई है। 

कोढ़ से प्रभावित व्यक्तियों के आश्रित बच्चों को मुफ्त शिक्षाः 
कोढ़ से प्रभावित व्यक्तियों के आश्रित बच्चों को विश्वविद्यालय में मुफ्त शिक्षा उपलब्ध कराने संबंधी प्रस्ताव पर भी सहमति जताई गई। 

विकलांगों को छूट, 45 प्रतिशत वाले होंगे अर्हः राज्य विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों में प्रवक्ता पद पर नियुक्ति में शारीरिक और दृष्टि बाधित विकलांगों को स्नातक स्तर पर निर्धारित अंकों को 50 के बजाय 45 प्रतिशत करने का प्रस्ताव भी पास हो गया(अमर उजाला,मेरठ,8.12.2010)।

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