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29 दिसंबर 2010

माता-पिता की गलती के लिए नहीं बदले जा सकते प्रमाण-पत्र में नामःदिल्ली हाईकोर्ट

किसी विद्यार्थी के माता-पिता द्वारा बार-बार स्कूल के रिकॉर्ड में अपना गलत नाम भर कर की गई गलती के लिए सीबीएसइ के नियमों में बदलाव नहीं किया जा सकता। यह टिप्पणी करते हुए उच्च न्यायालय ने छात्रा की उस याचिका को खारिज कर दिया जिसमें उसने कहा था कि वह सीबीएसइ के सर्टिफिकेट में दर्ज अपने माता-पिता के नाम में कुछ संशोधन कराना चाहती है परंतु सीबीएसइ के नियम इसकी इजाजत नहीं दे रहे हैं।
मुख्य न्यायाधीश दीपक मिश्रा व न्यायमूर्ति मनमोहन की खंडपीठ ने कहा कि इस देश में जाति व धर्म के आधार पर आरक्षण दिया जाता है। ऐसे में किसी छोटी सी बात के लिए माता-पिता के नाम में बदलाव की अनुमति नहीं दी जा सकती है। अदालत ने कहा कि इस छात्रा के जन्म प्रमाण पत्र में उसके पिता का नाम राम सिंह व मां का नाम कमला दर्ज है। उसके बाद भी उसके माता-पिता ने नर्सरी से लेकर दसवीं कक्षा तक के फॉर्म में अपना नाम राम सिंह यादव व कमला यादव भरा है। जिससे साफ जाहिर है कि यह गलती उन्होंने खुद की है। अदालत ने कहा कि अगर नियमों के अनुसार नाम में बदलाव का प्रावधान हो तो भी इस मामले में नाम बदलने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए क्योंकि छात्रा के माता-पिता ने खुद बार-बार गलती की है, जिसके लिए वह खुद ही जिम्मेदार है(दैनिक जागरण,दिल्ली,29.12.2010)।

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