निदेशक प्राथमिक शिक्षा के उपेक्षापूर्ण रवैया के कारण अल्पसंख्यक प्राथमिक विद्यालय से अवकाशप्राप्त करने वाले शिक्षकों को सेवानिवृत्ति लाभ नहीं मिल रहा है। मानव संसाधन विकास विभाग से शिक्षकों का वेतन निर्धारण प्रपत्र का अनुमोदन के लिए अलग झारखंड राज्य गठन के बाद कई बार जांच शिविर भी लगाये गये। जांच के लिए बनी समितियां एवं कई शिक्षकों के कार्यकाल समाप्त हो गए। लेकिन निदेशक प्राथमिक शिक्षा द्वार शिक्षकों का वेतन निर्धारण प्रपत्र का अनुमोदन अब तक नहीं किया गया। इस संबंध में अल्पसंख्यक प्राथमिक विद्यालय शिक्षक संघ के अध्यक्ष एवं सचिव ने विधायक एवं पूर्व विधायक को ध्यान आकृष्ट कराते हुए कहा है कि अल्पसंख्यक शिक्षकों की यह बहुत दिनों से लंबित समस्या है। इसके समाधान के लिए संगठन द्वारा शिक्षा सचिव और निदेशक प्राथमिक शिक्षा को ज्ञापन भी सौंपने का काम किया गया है। विधायक को लिखे गये पत्र में अल्पसंख्यक प्राथमिक विद्यालय शिक्षक संघ के अध्यक्ष इरेनियुस खलखो और सचिव दामोदर होता ने निदेशक और क्षेत्रीय शिक्षा उप निदेशक पर आर सी मध्य विद्यालय कायम्बा में नियुक्ति के मामले में दुराग्रह का आरोप लगाया है। श्री होता का कहना है कि वह संघ के प्रदेश उपाध्यक्ष और जिले में सचिव हैं। कायम्बा स्कूल के मामले में विभागीय पदाधिकारी की क्रियाकलाप संघ के पदाधिकारी पर दमनात्मक कार्य प्रतीत हो रहा है। उन्होंने कहा कि कायम्बा विद्यालय के शिक्षकों का वेतन निर्धारण प्रपत्र निदेशक प्राथमिक शिक्षा पटना से अनुमोदित है और बिहार सरकार के शिक्षा सचिव के पत्रांक 383 दिनांक 27 फरवरी 1984 के आलोक में 1980 से अद्यतन सात पद का भुगतान हो रहा है। तत्कालीन विधायकसह वर्तमान सांसद सुदर्शन भगत द्वारा विद्यालयों की कई समस्याओं का निराकरण कराया गया था और अब स्कूल के शिक्षकों को नियमित वेतन का भुगतान भी हो रहा है। इस विद्यालय के दो शिक्षक सेवा निवृत्त हो गये हैं लेकिन पंचम और षष्ठ वेतन निर्धारण प्रपत्र में अनुमोदन नहीं होने के कारण अंतिम पेंशन का निर्धारण नहीं हो रहा है। संघ के पदाधिकारी द्वय ने विधायक से अल्पसंख्यक शिक्षकों की समस्याओं के निदान में सकारात्मक पहल करने का अनुरोध किया है(दैनिक जागरण,गुमला,12.12.2010)।
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