सूबे में 16 वर्षे के बाद आठ हजार नियमित नर्से की बहाली विभिन्न अस्पतालों में होने जा रही है. अब तक सरकार ठेके पर ही नर्सो की बहाली कर अस्पतालों की सेवा संचालित कर रही थी. स्वास्थ्य विभाग बहाली के लिए भरती, प्रोन्नति और सेवा शर्त नियमावली बनाने में जुट गया है. एक माह के अंदर नियमावली तैयार होते ही बहाली की प्रक्रिया शुरू कर दी जायेगी. सेवा नियमित होते ही नर्सो के वेतन में डेढ़ से दोगुनी वृद्धि हो जायेगी.
सीएम की मिली सहमति
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की सैद्धांतिक सहमति के बाद स्वास्थ्य विभाग आठ हजार नर्सों की नियमित नियुक्ति में जुट गया है. राज्य में अप्रैल, 1994 में नियमित नर्से की अंतिम नियुक्ति की गयी थी.
उसके बाद नर्सों सेवानिवृत्त होती गयीं, जबकि अस्पतालों में नयी नियुक्तियां नहीं की गयीं. उस समय नर्से की नियुक्ति निदेशक प्रमुख के माध्यम से होती थी. अस्पताल की लचर हो चुकी नर्सिंग सुविधा को देखते हुए सरकार ने अक्तूबर, 2006 में पहली बार नर्से की ठेके पर बहाली शुरू की थी. तब से समय-समय पर ठेके पर ही नर्से की बहाली अस्पतालों में होती रही.
प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, अनुमंडलीय अस्पताल, जिला अस्पताल से लेकर मेडिकल कॉलेज अस्पताल में मरीजों की देखरेख का जिम्मा ठेके पर बहाल नर्से के हाथों में ही है. ठेके पर काम कर रही आठ हजार नर्से की विडंबना है कि उनका अनुबंध मात्र 11 माह के लिए किया जाता था. नर्से की होनेवाली नियमित बहाली के मामले पर स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव अमरजीत सिन्हा ने बताया कि अस्पतालों में नियमित बहाली जल्द की जानी है.
8000नर्सो की होगी बहाली
इसके लिए विभाग द्वारा नियमावली तैयार की जा रही है. एक माह में नियमावली तैयार हो जायेगी. श्री सिन्हा ने बताया कि अनुबंध तात्कालिक व्यवस्था है. इसकी जगह अब नियमित बहाली की जानी है.(प्रभात खबर,पटना,12.1.11)
कोई टिप्पणी नहीं:
एक टिप्पणी भेजें
टिप्पणी के बगैर भी इस ब्लॉग पर सृजन जारी रहेगा। फिर भी,सुझाव और आलोचनाएं आमंत्रित हैं।