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11 जुलाई 2011

प्राइवेट कॉलेजों ने पीयू से छिपाया आमदनी और खर्च का हिसाब

पंजाब यूनिवर्सिटी से एफिलिएटिड प्राइवेट कॉलेजों ने 10 फीसदी फीस बढ़ाने का प्रस्ताव तो पीयू को भेज दिया, लेकिन ये कॉलेज अपनी आमदनी और खर्चे की जानकारी पीयू से छिपा रहे हैं।

एनएसयूआई प्रेसिडेंट सन्नी मेहता द्वारा सूचना के अधिकार अधिनियम (आरटीआई) के तहत पीयू से मांगी गई जानकारी में इसका खुलासा हुआ है। पीयू ने जवाब में बताया है कि इन कॉलेजों ने पिछले दो साल से पीयू को इनकम एंड एक्सपेंडिचर रिटर्न फाइल नहीं किया है। जबकि सभी कॉलेजों को यह स्टेटमेंट हर साल पीयू को देना लाजिमी है। इन कॉलेजों को हर साल चार्टर्ड एकाउंटेंट से ऑडिट करवाना पड़ता है। लेकिन दो साल से यह स्टेटमेंट कॉलेजों की ओर से पीयू तक नहीं पहुंची है। पीयू ने भी इन कॉलेजों से रिटर्न लेने की जहमत नहीं उठाई।

एनएसयूआई ने मांगी थी जानकारी

एनएसयूआई प्रेसिडेंट सन्नी मेहता ने सूचना के अधिकार अधिनियम के तहत पीयू से इन कॉलेजों की आय और खर्चो की डिटेल मांगी थी। पीयू प्रशासन की ओर से दिए गए जवाब में बताया गया कि कॉलेज दो सालों से आय और खर्चे की जानकारी छिपा रहे हैं। सन्नी मेहता का कहना है कि कॉलेजों को छात्रों की फीस बढ़ाने की मांग करने का कोई अधिकार नहीं है क्योंकि कॉलेज भ्रामक बातें करके पीयू प्रशासन से फीस बढ़वा रहे हैं।

दो साल से नहीं दे रहे रिटर्न


इन कॉलेजों ने पिछले 2 साल से पीयू को आमदनी और खर्चे से संबंधित रिटर्न नहीं दी है। यह भी पता नहीं है कि कॉलेजों ने यह ऑडिट करवाया है या नहीं। पीयू के पास इसकी भी कोई जानकारी नहीं है। 

पीयू ने भी नहीं मांगा रिटर्न

पीयू से एफिलिएटिड कॉलेज दो साल से रिटर्न पीयू को नहीं भेज रहे। लेकिन पीयू प्रशासन ने भी इस संबंध में कॉलेजों से इनकम एंड एक्सपेंडिचर रिटर्न मांगने की भी जहमत नहीं उठाई। नियमों के तहत पीयू को इन कॉलेजों को रिमांइडर भेजकर रिटर्न लेनी थी। लेकिन ऐसा कोई कदम पीयू की ओर से नहीं उठाया गया। 

इनकम एक्सपेंडिचर रिटर्न नहीं भरा

एफिलिएटिड कॉलेजों द्वारा हर साल होने वाली आमदनी के साथ ही खर्चे की जानकारी पीयू को देना लाजिमी है। खर्चे और आमदनी का किसी चार्टर्ड एकाउंटेंट से ऑडिट होना जरूरी है। लेकिन ये कॉलेज यह रिटर्न पीयू को नहीं दे रहे।

रिटर्न देने के निर्देश दिए जाएंगे

इस संबंध में जानकारी नहीं है। लेकिन अगर कॉलेजों ने दो साल से यह रिटर्न नहीं भरा है तो जल्द ही इन कॉलेजों को यह रिटर्न देने के लिए निर्देश दिए जाएंगे।""

प्रो. नवल किशोर, पीयू के डीन कॉलेज डेवलपमेंट काउंसिल(अधीर रोहाल,दैनिक भास्कर,चंडीगढ़,11.7.11)

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