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17 नवंबर 2011

जीवाजी यूनिवर्सिटीःइस बार परीक्षा में कम मिलेगा गैप

यदि आप जीवाजी यूनिवर्सिटी से संबद्ध किसी कॉलेज में स्नातक प्रथम सेमेस्टर के छात्र हैं और 28 नवंबर से होने वाली परीक्षाओं में शामिल होने जा रहे हैं तो सभी विषयों की तैयारी पहले ही पूरी कर लें। कारण यह कि यूनिवर्सिटी प्रशासन ने परीक्षा का जो कार्यक्रम बनाया है उसमें दो पेपरों के बीच दो दिन से अधिक गैप नहीं दिया है। इससे उन छात्रों को अधिक मेहनत करनी पड़ेगी, जो गैप के दौरान पढ़ाई करते हैं। परीक्षाएं 12 दिसंबर तक चलेंगी।

बीए, बीएससी, बीकॉम प्रथम सेमेस्टर परीक्षा में लगभग 35 हजार शामिल होंगे। इस बार परीक्षा का पैटर्न बदल दिया गया है। जिन विषयों में दो पेपर होते थे, उनमें एक ही रखा गया है, जबकि तीन वालों में दो ही पेपर होंगे। इससे छात्रों पर पढ़ाई का दबाव अधिक रहेगा। वैसे भी कक्षाएं देर से शुरू होने के कारण सिलेबस पूरा नहीं हो सका है। परीक्षाओं के दौरान दो दिन से अधिक का गैप नहीं रखा गया है।


पहले हर विषय के दो से तीन पेपर होते थे, इस कारण हर पेपर के बाद चार-पांच दिन का गैप मिल जाता था। इससे छात्रों को रिवीजन करने का मौका मिल जाता था। इस बार उन्हें रिवीजन का भी पर्याप्त मौका नहीं मिलेगा। इससे दबाव में परीक्षाएं देनी पड़ेंगी।

उच्च शिक्षा विभाग ने एकेडमिक कैलेंडर के तहत सभी विश्वविद्यालयों को परीक्षाएं कराने के निर्देश दिए हैं, इसी कारण जेयू ने परीक्षाएं जल्द निपटा देने का फैसला किया है। प्रथम सेमेस्टर के बाद तृतीय व पंचम सेमेस्टर की परीक्षाएं शुरू हो जाएंगी जो 31 जनवरी तक चलेंगी। इसी दौरान स्नातकोत्तर प्रथम एवं तृतीय सेमेस्टर की परीक्षाएं भी होंगी। 

हालांकि जेयू 31 जनवरी तक सभी परीक्षाएं समाप्त करा देना चाहता है, लेकिन ये फरवरी मध्य से पहले संभव नहीं दिखतीं। कारण यह कि कई ऐसे पाठ्यक्रम हैं जो छह माह देर से चल रहे हैं।

क्या करें छात्र
-12 दिन के अंदर विषयवार पेपर का अध्ययन कर लें।

- विषय विशेषज्ञों से बात कर कुछ खास टॉपिक का अध्ययन करें।

-नोट्स बनाने के बजाय अधिक से अधिक विषयों को रिवाइज करें।

-जो टॉपिक समझ में नहीं आएं उनमें समय बर्बाद न करें, दूसरे की तैयारी करें(रामरूप महाजन,दैनिक भास्कर,ग्वालियर,17.11.11)।

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