उच्च शिक्षा विभाग की ऑनलाइन एडमिशन प्रक्रिया के खिलाफ हाई कोर्ट की इंदौर खंडपीठ से स्टे लाने वाले 25 से ज्यादा कॉलेजों की मुश्किलें फिर बढ़ सकती है। पिछले डेढ़ सप्ताह के भीतर ही जबलपुर हाई कोर्ट, ग्वालियर खंडपीठ और अब इंदौर खंडपीठ ने भी ऐसे कॉलेजों को स्टे देने से इंकार कर दिया है। कोर्ट ने शासन की ऑनलाइन एडमिशन प्रक्रिया को जायज माना है। कोर्ट से स्टे लाने वाले कॉलेजों ने एडमिशन प्रक्रिया तो शुरू कर दी है, पर कोर्ट के रुख के बाद अंतिम निर्णय क्या पर असमंजस गहरा गया है। इधर, कोर्ट से राहत मिलने के बाद शासन ने इंदौर खंडपीठ में चल रहे मामलों में अपना पक्ष मजबूती से रखने की तैयारी कर ली है।
छात्रों का क्या होगा?
माहभर में भीतर हाई कोर्ट की इंदौर खंडपीठ ऑनलाइन एडमिशन के मामले में फैसला सुना सकती है। स्टे लाने वाले कॉलेजों के लिए भी ऑनलाइन एडमिशन का निर्णय आया तो उन छात्रों को परेशानी आएगी, जिन्होंने इन कॉलेजों में एडमिशन लिया है।
शासन का पक्ष सही माना
जबलपुर हाई कोर्ट ने कई कॉलेजों को ऑनलाइन एडमिशन से छूट देने से इंकार करते हुए शासन की प्रक्रिया को सही माना है। इंदौर के जिन कॉलेजों को स्टे मिला है, उसकी सुनवाई चल रही है। उम्मीद है कि फैसला ऑनलाइन एडमिशन के पक्ष में ही आएगा।- डॉ. नरेंद्र धाकड़, अतिरिक्त संचालक, उच्च शिक्षा(दैनिक भास्कर,इंदौर,12.6.12)
उपयोगी जानकारी आभार।
जवाब देंहटाएंकेवल ऑनलाइन प्रवेश ही होने चाहिये बाक़ी को अवैध घोषित किया जाना चाहिए
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